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Essay on Merger of Banks in India in Hindi

भारत में अनेक क्षेत्रों में बैंक बनाए जाते हैं। जिससे लोगों को बैंक की सुविधा उनकी नजदीकी क्षेत्र में हो पाए। बैंक के होने से लोगो की पूंजी सुरक्षित रह पाती है और बैंक की हर पूंजी मान्य कहलाती है। आज के समय में बैंक से शिक्षा के लिए भी ऋण लिया जाता है। बैंक हर क्षेत्र में आर्थिक रूप में लोगो की मदद कर रहा है। जिस प्रकार बढ़ते समय के साथ जिस प्रकार बैंक का महत्व बढ़ते जा रहा है। उस हिसाब से छोटे छोटे बैंक का क्षेत्र में रहना असम्भव हो जाएगा। इसको ध्यान में रखते हुए ,भारत की अर्थव्यवस्था को संतुलन बनाने के लिए बैंक विलय करवाया जात है। बैंक विलय के बारे में तो आज के समय में सभी को पता होगा । और अगर नहीं पता तो हम आपको आज इसके बारे में संपूर्ण जानकारी देंगे।

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बैंक विलय का अर्थ क्या है?

भारत की अर्थव्यवस्था में सुधार लाने के लिए सरकार दो और दो से अधिक बैंक को मिलाकर एक मजबूत बैंक का संगठन करती है, उसे बैंक विलय कहते है। बैंक विलय को हम कुछ इस प्रकार समझ सकते है कि दो कंपनिया अलग अलग होकर जब अपना व्यवसाय चलते है , तो वह मार्केट में उतार चढ़ाव के साथ चलता है, परंतु जब वो दो कंपनिया एक साथ जुड़कर अपना व्यवसाय चलते है तो वो और भी ज्यादा मुनाफा कमाते है। उसी प्रकार बैंकों का विलय होता है तो बैंक के साथ साथ सरकार का भी अधिक मुनाफा होता है। भारत में कई सारे ऐसे छोटे छोटे बैंक है जो मिलकर एक बड़ा बैंक बना है। बैंक के विलय का परिणाम यह भी हो सकता है कि ये अंतरराष्ट्रीय स्तर पर बैंकों के साथ प्रतियोगीता करने में सक्षम हो पाएंगे। जब दो बैंक का संगठन होता है तो वह अपने नए बैंक का नाम या तो बदल सकते है या फिर दोनों बैंकों को मिला कर उसका नया नाम रख सकते है। बैंको का विलय करवाने का फैसला केंद्र सरकार द्वारा लिया गया ,सरकार ने ये फैसला किया कि 10 बैंक का विलय होगा। जिससे देश की अर्थव्यवस्था बहुत मजबूत बन जाएगी।

विलय किए गए बैंक एक दूसरे के साथ ऐसे सभी चीजें साझा करती है ,जो कि उनके प्रतिस्पर्धा क्षमता के विकास करती है। विलय बैंक एक साथ और भी मजबूती से काम करती है और अपना विकाश देश विदेश में पूरी तरह करने में सक्षम होती है। विलय किए हुए कंपनियां एक-दूसरे के साथ कोई भी प्रतियोगिता का भाव नहीं रखती,वह एक साथ संसाधन और संपत्ति को समझौते के साथ बांटकर सारा काम करती है।

कितने बैंको का विलय हुआ?

1.पंजाब नेशनल बैंक के साथ ओरिएंटेड बैंक ऑफ कॉमर्स और यूनियन बैंक ऑफ इंडिया का विलय:-

OBC और UBI का विलय PNB के साथ किया गया है। इन बैंकों का विलय होजने के बाद ये सार्वजनिक शाखाओं के मामले में भारत में दूसरे स्थान पर होगी। पंजाब नेशनल बैंक की कुल संपत्ति 17.95 लाख करोड़ की होगी जबकि इसकी शाखाएं 11,437 होगी। धीरे धीरे ये प्रगति की ओर बढ़ रहा है।

2.सिंडिकेट बैंक के साथ केनरा बैंक :-

सिंडिकेट को केनरा बैंक में विलय कर दिया गया है। इन बैंकों के विलय से ये सार्वजनिक क्षेत्रों में चौथे स्थान पर अपना जगह बना सकता है।केनरा बैंक की विलय के बाद  10,342 शाखाएं हो जाएगी। केनरा का कुल कारोबार 15.20 लाख करोड़ की होगी।

3.आंध्र बैंक के साथ कॉर्पोरेशन बैंक और यूनियन बैंक ऑफ इंडिया:-

आंध्र बैंक और कॉर्पोरेशन बैंक का विलय यूनियन बैंक ऑफ इंडिया में हो गया है। इस विलय के बाद इनका कारोबार 4 गुना बढ़ गया है,विलय के लाभ उनमें देखे जा रहे है। शाखाओं के क्षेत्र में ये 5 वा स्थान प्राप्त कर सकता है। इस विलय के बाद इनकी कुल शाखाएं 9,609 हो जाएगी।

4.इलाहाबाद बैंक के साथ भारतीय बैंक :-

इन दोनों बैंक के विलय से बैंक में बहुत ज्यादा विकाश हुआ है। इन दोनों शाखाओं के मिलने के बाद इलाहाबाद बैंक भारत के सार्वजनिक क्षेत्र में 7वा पद हासिल कर पाएगा। इनका कुल कारोबार 8.08 लाख करोड़ और 6,104 शाखाएं हो जाएगी।

इनकी साथ-साथ और भी कई सारे बैंक है जिन का विलय हुआ है ।भारत में कुल 2,000 से अधिक बैंकों या तो बंद हुए हैं या तो उनका विलय हुआ है। इनके ही जैसे आगे जाकर और भी बैंक का विलय होना अनिवार्य है। जिस प्रकार विलय का लाभ बढ़ता जाएगा ये हर क्षेत्र में अपनी गति बढ़ते जाएगी।

 बैंक विलय के लाभ :-

भारत में एक से अधिक बैंक को मिलाकर विलय करने का निर्णय केंद्र सरकार द्वारा बहुत सोच समझ कर लिया गया। इससे समाज में सार्वजनिक क्षेत्रीय लाभ तो समाप्त हो जाएगा परंतु बहुत से ऐसे लाभ भी है जो भविष्य में देखे जा सकते है –

  • बैंको के विलय से वो और भी मात्रा में लोगो को ऋण देने में सक्षम हो जाएगी।
  • बैंको की पहुंच देश विदेश में फैल सकती है।
  • बैंक विलय से शाखाओं कि विशेषता बढ़ जाएगी।
  • आर्थिक संकटों का भी सामना विलय बैंक आपस में समझ कर सकेंगे।
  • बैंको के कर्मियों की बेतन में असमानता नहीं दिखाई देगी।
  • बैंक  का कारोबार बढ़ेगा और अधिक मुनाफा प्राप्त होगा।
  • बैंक के विलय से सरकारी अर्थव्यवस्था में सुधार के साथ अधिक पूंजी का देश भारत बन पाएगा।

 देश में बैंको के विलय का प्रभाव:-

सरकार द्वारा लिया गया निर्णय देश के लिए सदा सर्वोपरि माना जाता है। देश की आर्थिक सुधार का जिम्मा भी केंद्र सरकार ही उठाता है ,इसलिए उनका हर एक निर्णय पर लोगों अपना अधिकार मानकर पूरा समर्थन करते है। बैंक विलय के पूर्व ग्राहकों का बैंक चैक अलग होता है परंतु विलय के बाद ये बदल दिया जाता है। हालाकि कुछ समय के लिए पुराने चेक का इस्तेमाल ग्राहकों द्वारा स्वीकार जाता है पर ये सीमित वक़्त के लिए होता है ।कई ग्राहकों को असुविधा भी होती है। बैंको की विलय प्रक्रिया समाप्त होने के बाद बैंक के ग्राहकों को पुनः संपूर्ण जानकारी बैंक में देनी होती है। भारत में बैंक विलय का प्रभाव पूरे देश में देखने को मिलेगा। बैंक की बड़ी शाखाएं बढ़ जाएगी जिससे वह अधिक मात्रा में ऋण  अच्छे ब्याज दर पे दे सकेंगे।

निष्कर्ष:-

सरकार द्वारा दिया गया निर्णय देश को और भी ज्यादा प्रभावशाली बनाता जाएगा।भारत की अर्थव्यवस्था का  जिम्मा बैंक के ऊपर होता है। बैंक के विलय से ग्राहकों को सुरुवाती दौर में थोड़ा दिक्कत होता है परंतु बाद में इसका लाभ सभी को दिखता है। बड़े बैंक की शाखाएं खुलने से छोटे छोटे शाखाओं में आर्थिक  गिरावट देखने मिलती थी पर विलय से ये काम है। विलय से बैंक और भी ज्यादा मजबूत बन जाते है।वर्तमान काल में बैंक विलय कुछ ही क्षेत्र में दिख रहे है पर आने वाले समय में ये और भी ज्यादा विकसित हो जाएगा। सरकार के अनुरूप बैंक के कार्यों में प्रगति आने से केंद्र सरकार और भी नए नियम लागू कर सकती है।

FAQ ( विषय से संबंधित प्रश्न):-

1.प्रश्न:- बैंक विलय से बैंको का क्या फायदा है?

उत्तर:- बैंक विलय से जुड़ने वाले बैंक का आर्थिक सुधार के साथ बड़े क्षेत्रों विकाश भी होता है।

2.प्रश्न:- 10 बैंको के विलय का ऐलान किसने किया?

उत्तर:-  वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण  ने 10 बैंको को 4 बड़े बैंक में विलय करने का निर्णय लिया है।

3.प्रश्न:- 2017 में कुल बैंक की संख्या 27 थी पर  वर्तमान समय में बैंक की संख्या कितनी है?

उत्तर:- वर्तमान समय में बैंक के विलय के करें बैंक की संख्या घट कर 12 हो गई है।

4.प्रश्न:- क्या भविष्य  में बैंक विलय बढ़ेगा ?

उत्तर:- जिस प्रकार बैंको के विलय से देश की अर्थ्यवस्था को लाभ हो रहा है संभावना लगाई जा सकती है कि आगे जाकर इसे और भी बढ़ाया जा सकता है।